उत्तराखंड

सुप्रीम कोर्ट का फैसला आरक्षण को खत्म करने जैसा, अनुसूचित जातियों को एकजुट रहने की जरूरत

 बसपा सुप्रीमों मायावती ने लखनऊ में प्रेस वार्ता की। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट द्वारा दी गई आरक्षण की व्यवस्था पर सवाल उठाया। 

बसपा सुप्रीमों मायावती ने लखनऊ में प्रेस वार्ता की। इस प्रेस वार्ता में उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के द्वारा अनुसूचित जातियों को उपजातियों में विभाजित करने के फैसले पर सवाल उठाया। मायावती ने कहा कि उनकी पार्टी सुप्रीम कोर्ट द्वारा किए गए एससी जाति में उपजाति विभाजन करने के फैसले से सहमत नहीं है। मायावती ने कहा कि आरक्षण पर नई सूची बनाने से कई तरह की परेशानियां सामने आएंगी। 

उन्होंने कहा कि पंजाब राज्य के मामले में 20 साल पहले के फैसले पर सुनवाई सही नहीं। साथ ही साथ एससी एसटी के बीच उपजाति का विभाजन करना सही नहीं फैसला नहीं होगा। बसपा सुप्रीमों ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला कहीं न कहीं आरक्षण को खत्म करने के प्लान जैसा है। उन्होंने क्रीमीलेयर के मानक पर भी सवाल उठाए। 

मायावती ने दो टूक लहजे में कहा कि भविष्य में आरक्षण में किसी भी तरह के बदलाव की कोशिशें न हों। संविधान के नौवीं अनुसूची में इसे शामिल किया जाए। अनूसूचित जातियों को आगाह करते हुए मायावती ने कहा कि आपातकालीन की स्थिति को समझते हुए एससी-एसटी वर्ग को एकजुट होने की जरूरत है। यदि वह बंटे रहेंगे तो विरोधी उनका फायदा उठाएंगे। 

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