182 साल बाद अपने नए घर में विराजमान होंगे शिलगुर महाराज, ग्रामीणों ने खुद के खर्चे पर बनवाया मंदिर

देवता को 15 जुलाई को नए मंदिर में विराजमान कराया जाएगा। इसकी तैयारी पूरी हो गई है।
खत सिलगांव के 10 गांवों के आराध्य देव शिलगुर महाराज 182 साल बाद अपने नए मंदिर में विराजमान होंगे। खत वासियों ने अपने खर्च पर दो मंजिला मंदिर का निर्माण करवाया है। नई देव मूर्ति का भी निर्माण किया गया है। शनिवार को हरिपुर स्थित यमुना में देव मूर्ति को स्नान करवाया गया। आज रविवार को हिमाचल प्रदेश के चूड़धार में देव मूर्ति को शाही स्नान करवाया जाएगा। सोमवार को देवता नए मंदिर में विराजमान होंगे।
खत सिलगांव अंतर्गत भंजरा, पंचरा, सुरेऊ, जिसऊ घराना, जिसऊ खराया, उभरेऊ, मंडोली, देऊ, कनबुआ सहित 10 गांव आते हैं। पूरे खत में सुख-शांति के लिए वर्ष 1842 में शिलगुर महाराज को नगाया थात में खत वासियों ने विराजमान कराया था। संसाधनों की कमी के कारण देवता को पत्थरों की चिनाई कर एक छोटे से मंदिर में स्थापित कराया था।
अब खतवासियों ने करीब 182 साल बाद अपने स्वयं के खर्च पर करीब 20 लाख रुपये की लागत से नए मंदिर का निर्माण कराया है। मंदिर समिति के अध्यक्ष कृपाराम शर्मा ने बताया कि मंदिर का निर्माण पूरा हो चुका है। देवता को 15 जुलाई को नए मंदिर में विराजमान कराया जाएगा। इसकी तैयारी पूरी हो गई है।
80 वर्षीय खत स्याणा तुलसी राम शर्मा ने बताया कि उन्होंने भी केवल सुना ही था कि नगाया थात में देवता का आगमन हुआ था। अब नए मंदिर में देवता के दर्शन प्राप्त होंगे। कांति राणा, मातबर सिंह पंवार, दाताराम शर्मा, विरेंद्र सिंह पंवार, सुरेंद्र सिंह चौहान, सुरेंद्र सिंह पंवार आदि ने बताया कि देतवा का नए मंदिर में प्रवेश पूरी खत के लिए एक महत्वपूर्ण दिन होगा।